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बोरोडीन हुन्सडीकर अभिक्रिया क्या है? परिभाषा, उदाहरण एवं उपयोग | Borodine Hunsdicker Reaction in Hindi

बोरोडीन हुन्सडीकर अभिक्रिया (Borodine Hunsdicker Reaction):- 

परिभाषा: जब किसी सिल्वर लवण (Silver salt) या सिल्वर एसीटेट (Silver acetate) को CCl4 की उपस्थिति में ब्रोमीन (Br2) के साथ अभिक्रिया कराई जाती है, तो वह ब्रोमोऐल्केन (Bromoalkane) तथा सिल्वर ब्रोमाइड (AgBr) का निर्माण करता है। इस अभिक्रिया को बोरोडीन हुन्सडीकर अभिक्रिया कहा जाता है।

अभिक्रिया समीकरण:

R-COOAg + Br2 → R-Br + CO2 + AgBr

उदाहरण:

CH3COOAg + Br2 → CH3Br + CO2 + AgBr

मुख्य बिंदु:

  • यह एक डिकार्बॉक्सीलेशन अभिक्रिया (Decarboxylation Reaction) है।
  • इसमें कार्बोक्जिल समूह (–COOH) हटकर ब्रोमो उत्पाद बनता है।
  • यह अभिक्रिया प्रायः एल्काइल ब्रोमाइड के संश्लेषण हेतु प्रयोग में लाई जाती है।

उपयोग:

  • ब्रोमो एल्केन यौगिकों के निर्माण में।
  • कार्बनिक संश्लेषण में इंटरमीडिएट तैयार करने हेतु।

नोट: इस अभिक्रिया में मुख्य रूप से CCl4 विलायक के रूप में कार्य करता है।


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